अमर उजाला ब्यूरो, मुंबई Published by: रुपाली रामा जायसवाल Updated Sun, 06 Oct 2024 10:23 PM IST
ब्राजील के प्रतिष्ठित साओ पाउलो इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में इस बार इंसानी जज्बात की नुमाइंदगी करने वाली फिल्मों में ‘सेलेस्टिना एंड लॉरेंस’ अव्वल नंबर पर है। पिछले कुछ साल से इस फेस्टिवल में ‘पेबल्स’, ‘ईब आले ऊ’, ‘सर’, ‘किस्सा’, ‘लंचबॉक्स’ और ‘पीपली लाइव’ फिल्मों ने भारतीय सिनेमा का प्रतिनिधित्व किया है। 17 अक्तूबर से शुरू हो रहे साओ पाउलो फिल्म फेस्टिवल में इस साल प्रसिद्ध निर्देशक सत्यजीत रे की फिल्मों का एक खास सेगमेंट भी रखा गया है।
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फिल्म ‘सेलेस्टिना एंड लॉरेंस’ के निर्माता गौरव शारदा राय बताते हैं, “ये हमारे लिए गर्व की बात है कि साओल पाउलो इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल के ‘न्यू डायरेक्टर्स कॉम्पटीशन’ सेक्शन में इस साल ‘सेलेस्टिना एंड लॉरेंस’ भी चुनी गई है। इस सेक्शन की दूसरी फिल्मों में कान फिल्म फेस्टिवल का पाम डि ओर पुरस्कार जीतने वाली पायल कपाड़िया की बहुचर्चित फिल्म ‘ऑल वी इमेजिन एज़ लाइट’ भी शामिल है।”
फिल्म ‘सेलेस्टिना एंड लॉरेंस’ दो ऐसे लोगों की कहानी है जो झारखंड के आदिवासी समुदाय से हैं और दोनों अपनी जिंदगी में झंझावात से गुजर रहे हैं। किस्मत दोनों को करीब लाती है और दोनों एक ऐसा साझा सपना देखते हैं जिसमें उनके लिए बेहतर भविष्य की तस्वीर नजर आती है। फिल्म का शीर्षक इन्हीं किरदारों के नाम पर है। सेलेस्टिना का किरदार एक बिन ब्याही मां का है और इसे अंकिता केरकट्टा ने परदे पर निभाया है जबकि फिल्म में हालात के हाथों मजबूर एक चौकीदार लॉरेंस का किरदार अभिनेता सालिब मिंज को मिला है। फिल्म के निर्माताओं में गौरव शारदा राय के साथ नागेश बुदानिया और विवेक सिंह भी शामिल हैं।
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