प्रभु श्रीराम के अमिट भक्त हनुमानजी श्रीराम की तरह बेहतर कुशल प्रबंधक हैं। सदियों पहले महर्षि वाल्मीकि द्वारा रचित रामायण में इस बात का उल्लेख मिलता है। बाद में गोस्वामी तुलसीदास जी ने भी हनुमान जी के उन गुणों के बारे में श्रीरामचरितमानस में विस्तार से बताया है, जिनके आधार…
संस्कृति
भक्त और भगवान अध्यात्म के उस पहलु से जुड़े रहते हैं, जहां आस्था, विश्वास और उमंग की डोर उन्हें कभी अलग नहीं होने देती है। हम जिस भी रूप में अपने आराध्य को पूजते हैं, वह हमें उसी रूप में स्वीकार करते हैं। ऐसा तभी होता है, जब भक्त पूरे…
जो लोग ज्ञान के मार्ग पर चलते हैं, वे ऐसे लोग होते हैं जिनकी बुद्धि उन्हें किसी चीज पर विश्वास नहीं करने देती, न ही वे किसी चीज पर अविश्वास करते हैं। वेदों में ज्ञान के मार्ग पर चलने के लिए ज्ञान योग के अंतर्गत चार सिद्धांत बताए गए हैं।…
जिंदगी में कामयाब इंसान बनना है तो लक्ष्य हासिल करने के लिए बेहतर मैनेजमेंट का होना बेहद जरूरी है। इसके लिए मूल्य, रणनीति, विश्वास, प्रोत्साहन, श्रेय, उपलब्धता और पारदर्शिता होना जरूरी हैं और भगवान श्रीराम में यह सभी गुण मौजूद थे। भगवान श्रीराम अपना हर काम लगभग मैनेजमेंट के…