सांसद ज्ञानेश्वर पाटिल और धिवक्ता मनोज कुमार अग्रवाल। – फोटो : अमर उजाला
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लोकसभा चुनाव 2024 में भाजपा को नुकसान उठाना पड़ा है तो कांग्रेस पहले से कुछ मजबूत स्थिति में नजर आई है। नतीजों में पहले के मुकालबे भाजपा की 63 सीटें कम हो गई और उसे 240 सीटों पर ही संतोष करना पड़ा है। वहीं, कांग्रेस को 47 सीटों फायदा हुआ और पाार्टी ने 99 सीटों पर जीत दर्ज की। लेकिन, अब भाजपा को एक और सीट का नुकसान हो सकता है और यह सीट कांग्रेस के खाते में जा सकती है।
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दरअसल, मध्यप्रदेश की खंडवा संसदीय सीट से सांसद ज्ञानेश्वर पाटिल की सांसदी को चुनौती देते हुए जबलपुर हाईकोर्ट में एक याचिका दायर की गई है। मंगलवार को हुई सुनवाई के बाद हाई कोर्ट ने सांसद पाटिल समेत रिटर्निंग ऑफिसर और अन्य को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
बुरहानपुर जिले के अधिवक्ता मनोज कुमार अग्रवाल की ओर से हाईकोर्ट में दायर की गई याचिका में खंडवा सांसद ज्ञानेश्वर पाटिल की सांसदी रद्द करने की मांग की गई। साथ ही रिटर्निंग ऑफिसर पर कार्रवाई करने का भी आग्रह किया गया है। याचिका पर मंगलवार को हुई सुनवाई के बाद हाई कोर्ट ने सांसद ज्ञानेश्वर पाटिल, रिटर्निंग ऑफिसर और अन्य पक्षकारों को नोटिस जारी किए हैं।
याचिकाकर्ता मनोज कुमार अग्रवाल खुद ही अपने मामले की पैरवी कर रहे हैं। अब अगली सुनवाई चार सितंबर को होगी। ऐसे में अगर, याचिकाकर्ता के पक्ष में फैसला आता है तो खंडवा सांसद ज्ञानेश्वर पाटिल की संसद सदस्यता समाप्त हो सकती है। उनकी जगह कांग्रेस के नरेंद्र पटेल को सांसद बनाया जा सकता है।
सांसद पाटिल और रिटर्निंग ऑफिसर पर कार्रवाई की मांग
खंडवा संसदीय सीट से निर्दलीय लोकसभा चुनाव लड़ने वाले अधिवक्ता मनोज कुमार विश्वंभर नाथ अग्रवाल ने कहा कि हाईकोर्ट ने सांसद ज्ञानेश्वर पाटिल और रिटर्निंग ऑफिसर समेत अन्य प्रतिवादियों को नोटिस जारी करने के आदेश कर दिए हैं। उन्होंने यह याचिका ज्ञानेश्वर पाटिल की सांसदी निरस्त करने और दूसरे नंबर पर रहे कांग्रेस प्रत्याशी नरेंद्र पटेल को विजयी घोषित करने के लिए दायर की है।
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